रावण का पुतला बनाकर मुस्लिम दे रहे आपसी सौहार्द का संदेश
रावण का पुतला बनाकर मुस्लिम दे रहे आपसी सौहार्द का संदेश
रामलीला कमेटी के तत्वाधान में आयोजित रामलीला महोत्सव में विजय दशमी के लिए तैयारियां की जा रही हैं। विजयदशमी पर जलाए जाने वाले रावण, कुंभकर्ण और मेघनाद के पुतलों को मुस्लिम समुदाय के लोग बना रहे हैं। अकील अहमद ने बताया कि वह कई साल से इन पुतलों को बनाकर आपसी सौहार्द का संदेश भी दे रहे हैं।
मुख्य मुस्लिम कारीगर अकील अहमद ने बताया कि वह मूल रूप से जनपद बिजनौर के रहने वाले हैं और यहां लगातार चौथी बार आये हैं। उनका परिवार कई साल से यह कार्य कर रहा है। पहले उनके वालिद पुतले बनाते थे और अब उन्होंने इस जिम्मेदारी को संभाला है। वे लगातार चौथी बार रामलीला प्रबंध समिति के तत्वावधान में आयोजित रामलीला महोत्सव में विजयदशमी पर होने वाले रावण दहन के लिए पुतले बना रहे हैं। उनका कहना है कि परिवार के सदस्य पुतले बनाने के कारोबार से जुड़े हुए हैं। हिंदू-मुस्लिम आपकी स्वार्थ को जिंदा रखने के लिए वह यह काम करते हैं। बता दें की इस काम में उनके साथ पांच अन्य रियाजुद्दीन,मोहम्मद सरताज,अतीक अहमद,कुनाल व जयदेव शामिल हैं। अकील अहमद ने बताया कि रावण के पुतले की ऊंचाई 45,कुम्भकर्ण 40,मेघनाद की 35 और तड़का के पुतले की ऊंचाई 13 फुट हैं।
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